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पिथौरागढ़। अस्कोट के हंश्वेर मठ में श्रीमद् देवी भागवत में व्यास पंडित पुष्कर राज ओझा ने कहा कि पुत्र कुपुत्र हो सकता है लेकिन मां कुमाता नहीं होती। शुंभ निशुंभ आदि दैत्यों को मार कर मनुष्यों देवताओं को अभय प्रदान करने वाली ममता मयी मां को सच्चे मन से पुकारों तो कष्ट दूर हो जाते हैं। वसंत पंचमी पर्व पर बटुकों के जनेऊ संस्कार हुए। श्रद्धालुओं ने सुरज कुंड में स्नान किया। महंत परमानन्द गिरि महाराज ने लोगों को आशीर्वाद दिया। इस मौके पर बड़ी संख्या में श्रद्धालु मौजूद रहे।

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